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बाल दिवस पर मुझे गांधीनगर स्मार्ट क्लास वॉलिंटियर्स के टीन फॉर सेवा केंद्र जाने का मौका मिला
- 2025-11-17 23:40:39
कार्यक्रम का सबसे रोमांचक हिस्सा बच्चों के साथ संवाद और खेल गतिविधियाँ थीं। वॉलिंटियर्स ने बच्चों से खुलकर बात की और उनके विचारों को सुना। बच्चों से पूछा गया कि उनके जीवन के सबसे बड़े सपने क्या हैं और वे क्या बनना चाहते हैं। कुछ बच्चों ने कहा कि वे डॉक्टर, इंजीनियर, शिक्षक, और कुछ ने तो स्पेस साइंटिस्ट बनने का सपना भी व्यक्त किया।
इस संवाद के दौरान वॉलिंटियर्स ने बच्चों को प्रेरित किया कि किसी भी काम में सफलता पाने के लिए मेहनत और लगन बहुत जरूरी होती है। उन्होंने बच्चों को बताया कि वे अपनी शिक्षा को गंभीरता से लें और अपने सपनों को पूरा करने के लिए हमेशा सकारात्मक दृष्टिकोण बनाए रखें। साथ ही, बच्चों को यह समझाया गया कि जीवन में अच्छे संस्कार और दूसरों के प्रति सम्मान भी उतने ही महत्वपूर्ण होते हैं जितनी शिक्षा।
इसके बाद वॉलिंटियर्स और बच्चों ने मिलकर कुछ खेल खेले, जिससे बच्चों का मनोबल और भी बढ़ गया। खेल-खेल में बच्चों ने न केवल आनंद लिया, बल्कि टीमवर्क, साझेदारी और संवाद की महत्वपूर्ण सीख भी ली। वॉलिंटियर्स ने बच्चों को एकता और सहयोग की भावना सिखाई, और बताया कि एक-दूसरे की मदद से ही बड़ी से बड़ी समस्याओं का हल निकाला जा सकता है।
इस खास मौके पर वॉलिंटियर्स ने बच्चों को छोटे-छोटे उपहार दिए, जिनमें स्टेशनरी आइटम्स, किताबें, पेंसिल बॉक्स, और खिलौने शामिल थे। बच्चों के चेहरे पर मुस्कान फैल गई, और वे इन उपहारों को लेकर बहुत खुश हुए। बच्चों का कहना था कि उन्हें इस दिन का सबसे अच्छा तो यही लगा कि उन्हें ऐसे प्यारे उपहार मिले।
यह उपहार न सिर्फ बच्चों के लिए एक खुशी का कारण बने, बल्कि यह संदेश भी था कि समाज के हर व्यक्ति को बच्चों के जीवन में छोटी-छोटी खुशियाँ और मूल्यवान संसाधन लाने की जिम्मेदारी है। उपहारों के साथ वॉलिंटियर्स ने बच्चों को यह भी समझाया कि सच्ची खुशी वही है जो हम दूसरों की मदद करके पाते हैं, और इस भावना को हमेशा अपने जीवन में अपनाना चाहिए।
